15/03/2015 माउंट आबू, शर्दी के बाद गर्मी का मोसम आता है, और यही हमे विद्यालयों में भी पढाया गया है, लेकिन पिछले कुछ दिनों से मोसम अलग ही मिज़ाज में है, कुछ दिनों पहले जब तेज़ हवाये और बारिश हुई तो लगा जैसे सावन आ गया और कल तो मोसम ने सावन हा हुबहू एहसास दिला दिया जब शहर में ओले पड़े, आबू रोड, माउंट आबू, सिरोही में ओले गिरे, तेज़ बारिश हुई ठंडी तेज़ हवाये चली |
जहा एक और पर्यटक मोसम के इस मिज़ाज का भरपूर मज्ज़े उठा रहे है, वही दूसरी और किसानो की नाक में दम हो गया है, कड़ी फसल का नाश हो रहा है, बारिश की आशंका बने रहने से किशानो को काफी तकलीफों का सामना करना पड़ रहा है |
इस विषय में हम गलती तो किसीकी भी नहीं निकल सकते लेकिन अगर समय पर मोसम विभाग किसानो को रेडियो, पत्रकारों, टीवी आदि के माध्यम से आगाज़ करदे की बारिश होने की संभावना है तो शायद हम “जय जवान, जय किशान” का नारा गर्व से पुकार सके |